स्वामी लक्ष्मणानन्द सरस्वती के हत्यारों की गिरफ्तारी कर जांच आयोग की रिपोर्ट हो सार्वजनिक : मिलिंद परांडे

नई दिल्ली, 21 अगस्त (वेब वार्ता)। विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के षष्ठिपूर्ति दिवस तक संगठन एक लाख गांवों तक कार्य विस्तार कर लेगा। तब तक विहिप के हितचिंतकों की संख्या भी एक करोड़ तक पहुंचाने का भी लक्ष्य है। विहिप के केंद्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे ने यह जानकरी दी। उन्होंने हिंदू समुदाय से विहिप के स्थापना दिवस तथा स्वतंत्रता के अमृत महोत्सव के कार्यक्रमों में बड़ी संख्या में सम्मिलित होने का आह्वान किया।

कटक के विहिप कार्यालय में प्रेस वार्ता में परांडे ने जनजातीय समुदाय के बीच हिंदुत्व के प्रचार प्रसार में जुटे पूज्य स्वामी लक्ष्मणानंद सरस्वती को श्रद्धांजलि देते हुए उनके हत्यारों की अविलंब गिरफ्तारी की मांग की। वर्ष 2008 में 23 अगस्त को लक्ष्मणानंद सरस्वती की हत्या कर दी गई थी। किंतु उनके हत्यारों की अभी तक पहचान नहीं हुई है। परांडे ने कहा कि इस मामले में जो जांच आयोग बनाए गए, उनकी रिपोर्ट भी अभी तक सार्वजनिक नहीं की गई है।

उन्होंने ओडिशा सरकार से मांग की कि जल्द से जल्द रिपोर्ट सार्वजनिक करे। परांडे के अनुसार पूज्य लक्ष्मणानंद सरस्वती का बलिदान व्यर्थ नहीं होगा और विहिप उनके संकल्प की सिद्धि में जुटी है। इस अवसर पर उन्होंने पूज्य पुरी शंकराचार्य निश्चलानंद सरस्वती का पुतला दहन करने तथा उनका अपमान करने वाले कम्युनिस्ट विचार से प्रेरित हिन्दू द्रोहियों की गिरफ्तारी की मांग भी की।

आगे परांडे ने कहा कि नौ अगस्त को मूल निवासी दिवस मनाने का भारत में कोई औचित्य नहीं है। भारत का जनजातीय समाज देश, धर्म, संस्कृति की रक्षा का व्रत लिए सदा शेष हिंदू समाज के साथ मिलकर प्रयास करता रहा है। उन्होंने अपील की भारतीयों को 15 नवंबर का दिन जनजातीय गौरव दिवस के रूप में मनाना चाहिए। इस दिन भगवान बिरसा मुंडा की जयंती होती है।

अंत में परांडे ने कहा कि ओडिशा में बड़े पैमाने पर ईसाई मिशनरी धर्मांतरण के षड्यंत्रों में जुटी है। उन्होंने मांग की राज्य सरकार को तत्काल इस पर रोक लगानी चाहिए। उन्होंने कहा कि झारखंड के रास्ते पश्चिम बंगाल में होने वाली गोवंश की तस्करी पर भी तुरंत रोक लगाई जानी चाहिए।

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